आरपी नेगी, शिमला
हेरिटेज रेल लाइन शिमला-कालका पर जल्द ही पुराने डिब्बे देखने को नहीं मिलेंगे। पुराने डिब्बों की जगह नए और आधुनिक तकनीक से तैयार किए डिब्बे ट्रैक पर दौड़ेंगे। इन डिब्बों का रफ डिजाइन खुद रेल मंत्री पीयूष गोयल ने तैयार किया है। डिजाइन को अंतिम रूप देने के लिए आरडीएसओ को नोर्दन रेलवे अधिकारियों को आदेश जारी कर दिए हैं। शिमला में मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा कि शिमला-कालका ट्रैक पर दौड़ रहे रेल डिब्बे पुराने हो गए है। यह डिब्बे अभी भी कालका वर्कशाप में बन रहे हैं। कालका वर्कशाप काफी पुरानी वर्कशाप है। वर्कशाप में अतिआधुनिक उपकरण भी नहीं हैं। 27 फरवरी को उन्होंने रेलगाड़ी में सफर भी किया, पर उन्हें वो संतुष्टि नहीं हुई। उन्होंने शिमला-कालका ट्रैक पर चल रहे सभी पुराने डिब्बों को बदलने के आदेश जारी कर दिए हैं। इस पर आरटीएसओ और नोर्दन रेलवे अधिकारियों ने काम शुरू कर दिया है। डिब्बों का नया डिजाइन बनेगा। डिब्बों में बड़े-बड़े शीशे लगाए जाएंगे। उन्होंने डिब्बों का नया डिजाइन खुद बनाया है। आरटीएसओ के अधिकारियों को इसी प्रकार का डिजाइन तैयार करने के लिए कहा है.
स्पीड बढ़ाने में नहीं मिली सफलता
शिमला-कालका रेलवे ट्रैक पर ट्रेन की स्पीड बढ़ाए जाने को लेकर उन्होंने कहा कि दो साल पहले भी यह मुहिम शुरू की गई थी, लेकिन सफलता नहीं मिल सकी। इसका कारण ट्रैक की भौगोलिक स्थितियां हैं। पहाड़ी क्षेत्र और कहीं कहीं पर शार्प कर्व हैं। दो दिन बैठक में यह तय हुआ है कि इसका दोबारा सर्वे करवाया जाएगा। यह देखा जाएगा कि शार्प कर्व को थोड़ा ठीक कर ट्रेन की स्पीड को बढ़ाया जा सकता है या नहीं। इसके लिए राज्य सरकार भी मदद करेगी। उन्होंने कहा कि दोबारा सर्वे के आदेश जारी कर दिए हैं। साथ ही बजट भी मंजूर कर दिया गया है। आरटीएसओ के अधिकारी नई स्टडी करेंगे। उन्होंने कहा कि पांवटा साहिब को जगाधरी तक लिंक करने की लाइन नहीं है।
पांवटा साहिब में प्रदेश सरकार उद्योगों को प्रमोट करना चाहती है। इसके लिए जगधारी-पांवटा साहिब तक रेलवे लाइन बिछाकर पांवटा साहिब में तैयार माल रेलवे के माध्यम से देश और अंतरराष्ट्रीय बाजार तक पहुंचाया जाए, इसके लिए जगाधरी से पावंटा साहिब रेल ट्रैक बिछाने के लिए सर्वे को भी आदेश जारी किए गए हैं। उन्होंने कहा कि 2009 से 2014 तक हिमाचल में रेलवे में निवेश मात्र 540 करोड़ रुपये था। पीएम नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में बनी केंद्र सरकार ने इसे अब सात गुणा बढ़ाया है। इस बजट में 770 करोड़ रुपये हिमाचल की अलग-अलग परियोजनाओं के लिए प्रावधान किया गया है। इसमें दो सौ करोड़ बद्दी रेल लाइन और चार सौ करोड़ भानुपल्ली-बिलासपुर रेल लाइन के लिए है। इसके अलावा अन्य छोटे मोटे प्रोजेक्ट के लिए बजट का प्रावधान किया गया है।
As colour can’t lose its ability to give colour after being broken several times. Similarly, I also can’t unlearn the art of spreading love and smile, after being broken, several times by my life !
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